आज के समय में इन्टरनेट सेवा और तकनीक काफी विकास कर गया है। हर एक क्षेत्र में इन्टरनेट का भरपूर इस्तेमाल किया जा रहा है, चाहे वो शिक्षा का क्षेत्र हो, या चिकित्सा का हो या फिर बैंकिंग सेक्टर। अब एक अकाउंट से दुसरे अकाउंट में पैसे ट्रान्सफर कर पाना चुटकियों का खेल है क्योकि इस काम के लिए ग्राहक के पास अब बैंक द्वारा अनेको सुविधाएं दी रही हैं।
इन्ही सब सुविधावों में से एक सुविधा है NEFT। आपने NEFT का नाम तो ज़रूर सुना होगा। क्या कभी ऐसा हुआ है की किसी ने आपको mode of payment में NEFT करने के लिए कहा हो और आप यह सोच कर परेशान हो रहे हो की NEFT होता क्या है।
ज्यादातर लोगों को NEFT के बारे में बहुत कम जानकारी होती है और वे यह भी नहीं जानते कि यह कैसे काम करता है। दोस्तों आज हम आपको बताएँगे की NEFT का फुल फॉर्म (NEFT full form in Hindi), NEFT की उत्पत्ति कब हुई, इसकी कार्य प्रणाली क्या है और इसके फायदे क्या हैं। तो आइये शुरू करते हैं।
NEFT Full Form – What is NEFT? – NEFT क्या है?
English में NEFT का full form “National Electronic Fund Transfer” होता है। Hindi में NEFT को “राष्ट्रीय इलेक्ट्रॉनिक फंड ट्रांसफर” कहते हैं।
भारत के सबसे प्रसिद्ध इलेक्ट्रॉनिक फंड ट्रांसफर प्लेटफॉर्म्स में से एक है NEFT (National Electronic Fund Transfer)। NEFT बैंकों द्वारा अपने ग्राहकों को दी जाने वाली एक सेवा है जो एक खाते से दूसरे खाते में तुरंत और सुरक्षित धन हस्तांतरण को सक्षम बनाता है।
यह एक देशव्यापी भुगतान प्रणाली है जो देश में कहीं भी जोखिम मुक्त लेनदेन (risk-free transaction) को सक्षम बनाती है।
Reserve Bank of India (RBI) ने ग्राहकों के लिए भारत में बैंकों के बीच पैसे ट्रांसफर करने को आसान बनाने के लिए NEFT इलेक्ट्रॉनिक भुगतान प्रणाली की शुरुआत की। यह बैंकों के बीच पैसे ट्रांसफर करने की एक सुरक्षित, सस्ती और भरोसेमंद तकनीक है।
प्रेषक (sender) और प्राप्तकर्ता (receiver) दोनों के बैंक खाते NEFT भुगतान स्वीकार करने के लिए स्थापित होने के बाद ही कोई NEFT लेनदेन पूरा कर सकता है। Reserve Bank of India (RBI) के नियमों के अनुसार, सभी NEFT लेनदेन को 30 मिनट के बैच में निपटाया जाना चाहिए।
आज हम देखते हैं की NEFT हस्तांतरण के समय पर कोई प्रतिबंध नहीं है, आप चौबीसों घंटे लेनदेन कर सकते हैं। पर पहले ऐसा नहीं था। दिसंबर 2019 से पहले RBI द्वारा निर्धारित किये गए समय पर ही लेनदेन किया जा सकता था – सोमवार से शुक्रवार तक सुबह 8:00 बजे से शाम 6:30 बजे तक और शनिवार को सुबह 8:00 बजे से दोपहर 12:00 बजे तक।
समय की पाबंदी को हटाने का यह फायदा हुआ की दुनिया भर में इलेक्ट्रॉनिक व्यापार और वित्तीय बाजार एकीकरण को प्रोत्साहन मिला है।
When did the NEFT start? NEFT की शुरुआत कब हुई?
NEFT की शुरुआत नवंबर 2005 में हुई। इस उद्देश्य के लिए एक सेट-अप विकसित किया गया और Institute for Development and Research in Banking Technology द्वारा बनाए रखा गया।
State Bank of Indore भारत का पहला बैंक बना जिसने इंदौर के सभी स्टेट बैंक शाखाओं में NEFT लागू किया। 27 अगस्त 2010 से State Bank of Indore को State Bank of India के साथ merge कर दिया गया।
How does NEFT work? NEFT कैसे काम करता है?
NEFT योजना के तहत, कोई भी व्यक्ति, निगम या कंपनी इलेक्ट्रॉनिक रूप से भारत के किसी भी बैंक शाखा से किसी अन्य व्यक्ति, निगम या कंपनी को कोई रकम हस्तांतरित कर सकता है, बशर्ते उनका खाता भारत में NEFT योजना में भागीदार बैंक में है। हमने आपकी जानकारी के लिए NEFT प्रणाली की प्रक्रियाओं को सूचीबद्ध किया है:
- उपयोगकर्ता जिस लेन-देन को NEFT के माध्यम से शुरू करता है, वह कतारबद्ध हो जाता है।
- हर घंटे, NEFT लेनदेन के बैचों को मंजूरी दी जाती है।
- बैंकिंग घंटों के बाद NEFT लेनदेन को स्वचालित रूप से automated transactions माना जाता है जिसे बैंक ने “Straight Through Process” (STP) प्रोटोकॉल का उपयोग करके शुरू किया है।
Benefits of NEFT? NEFT के फायदे?
- NEFT भुगतान करने का एक सुविधाजनक और किफायती तरीका है। इस प्रक्रिया का उपयोग करने के लिए आपको अपने बैंक को कोई बड़ी राशि प्रदान करने की ज़रुरत नहीं होती है। रकम चाहे कितनी भी हो, आप बड़ी आसानी से अपनी राशि को स्थानांतरित कर सकते हैं, और वो भी वाजिब processing fees के साथ।
- NEFT इंटरनेट पर पैसा भेजने का एक तेज़ और सुरक्षित तरीका है जिसके द्वारा आप किसी भी राशि को आसानी से भारत में कहीं भी भेज सकते हैं।
- NEFT पारंपरिक बैंकिंग प्रणालियों की तुलना में अधिक तेजी से धन हस्तांतरित करता है, जिससे खाते के तुरंत निपटान और आपकी कंपनी की समग्र कार्यक्षमता में वृद्धि होती है।
- इस हस्तांतरण की प्रक्रिया को पूरा करने के लिए लेन-देन करने वाले किसी भी पक्ष की भौतिक उपस्थिति की ज़रुरत नहीं होती है। किसी वास्तविक वस्तु का आदान-प्रदान करने की भी आवश्यकता नहीं होती है।
- NEFT प्रणाली सफल लेनदेन की पुष्टि के लिए email और SMS सूचनाएं प्रदान करती हैं।
- NEFT लेनदेन की राशि की कोई न्यूनतम या अधिकतम सीमा नहीं है।
- ऑनलाइन बैंकिंग या मोबाइल बैंकिंग का उपयोग करके NEFT लेनदेन करने पर कोई सेवा शुल्क नहीं लगाया जाता है। लेकिन एक बैंक शाखा में किए गए NEFT लेनदेन का मूल्यांकन एक छोटे से शुल्क और जीएसटी के साथ होता है।
How to do NEFT to someone – किसी को NEFT कैसे करें
- सबसे पहले आपको इन्टरनेट बैंकिंग से लॉगइन करना होगा इसके लिए आप अपने बैंक के ऑफिसियल साईट या app खोलें।
- अपने ऑनलाइन बैंकिंग खाते तक पहुंचने के लिए अपनी लॉगिन जानकारी दर्ज करें।
- अब Fund Transfer सेक्शन में जाएं।
- नए लाभार्थी का नाम जोड़ने के लिए, ‘Add beneficiary’ पर क्लिक करें।
- लाभार्थी का नाम, IFSC कोड और बैंक खाते की जानकारी प्रदान करें।
- अब ‘Confirm’ या ‘Add’ पर क्लिक करें।
- इस चरण को authenticate करने के लिए, आपको अपने पंजीकृत मोबाइल नंबर पर भेजे गए OTP को दर्ज करना होगा।
- आपके अनुरोध पर कार्रवाई की जाएगी। लाभार्थी को जोड़ने की प्रक्रिया में लगभग 24 घंटे लगते हैं।
- लाभार्थी के आपके खाते में जुड़ जाने पर, अपनी लाभार्थियों की सूची से लाभार्थी विवरण (जिसे आपको पैसे भेजने की आवश्यकता है) का चयन कीजिये। यदि आपने अभी-अभी अपने खाते में लाभार्थी को जोड़ा है, तो आप पहले 24 घंटों के लिए अधिकतम रु. 50,000 ही ट्रांसफर कर पाएंगे। 24 घंटे के बाद जितनी चाहें उतनी राशि ट्रांसफर कर सकते हैं।
- जितनी रकम आप लाभार्थी को भेजना चाहते हैं उतनी दर्ज करें और भेज दें।
- ‘Confirm’ पर क्लिक करें और राशि आपके बैंक खाते से आपके लाभार्थी के खाते में जमा कर दी जाएगी।
Note: यहाँ पे मैंने बस आपको basic रूप से समझाने के लिए मुख्य स्टेप को बताया है। पर यह जरुरी नहीं है की आपको अपना बैंकिंग लॉग इन करने के बाद बिलकुल ही same आप्शन दिखे। अलग अलग बैंक में फण्ड ट्रान्सफर करने के स्टेप थोड़ी अलग होते ही हैं और दिए जाने वाले ऑप्शन भी डिफरेंट होते हैं।
इसलिए मैं आपको आगाह करना चाहूँगा की बैंकिंग का कोई भी काम आप ध्यान से और अच्छे से समझ के ही करें। ताकि आप और आपका पैसा दोनों सुरक्षित रहें।
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NEFT full form in Hindi: Conclusion
ऑनलाइन पैसो का लें दें अब बहुत ही बढ़ गया है इसलिए पैसो का ट्रान्सफर करने के लिए अलग अलग उपलब्ध माध्यम का उपयोग किया जाता है। छोटे मोटे पेमेंट जैसे दुकान आदि में UPI का इस्तेमाल किया जाता हैं जबकि वही दूसरी ओर बड़े पेमेंट के लिए NEFT का उपयोग किया जाता है।
UPI के अपेक्षा NEFT में थोडा जादा स्टेप फॉलो करने पड़ते हैं पर यह UPI के अपेक्षा जादा सुरक्षित भी है।
इस लेख में मैंने आपको NEFT की सारी महत्वपूर्ण जानकारी देने की कोसिस किया है जैसे NEFT kya hai, NEFT ka full form (NEFT full form in Hindi), NEFT के फायदे, नेफ्त कैसे करें आदि।
अंत में मैं आप से यही कहना चाहूँगा की अगर आपको NEFT full form, what is NEFT in Hindi वाली यह लेख पसंद आया हो तो इसे सोशल मीडिया पे शेयर जरुर करें। अगर आप कुछ कहना या पूछना चाहते हैं तो निचे कमेंट कर सकते हैं।